Weather Today: पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव से उत्तर भारत के कई हिस्सों में मौसम में खासा बदलाव देखने को मिला है। सोमवार को दिल्ली-एनसीआर, हरियाणा, और पश्चिमी उत्तर प्रदेश समेत कई राज्यों में हल्की बारिश हुई, जिससे तापमान में गिरावट आई और ठंड का असर बढ़ गया। मौसम विभाग ने आगामी दिनों में और बारिश और ठंड बढ़ने की चेतावनी दी है।
बादल और बूंदाबांदी का असर
मौसम विभाग के मुताबिक, दिल्ली-एनसीआर, हरियाणा, पंजाब और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के इलाकों में मंगलवार को हल्की बारिश की संभावना है। दिल्ली में काले बादल छाए रहेंगे और दिन के समय हल्की बूंदाबांदी हो सकती है। अनुमान है कि मंगलवार को दिल्ली का न्यूनतम तापमान 8 डिग्री सेल्सियस और अधिकतम तापमान 19 डिग्री सेल्सियस रहेगा।
26 से 28 दिसंबर के बीच बारिश और ओलावृष्टि की संभावना
मौसम विभाग ने 26 से 28 दिसंबर के बीच उत्तर भारत के कई राज्यों में बारिश का अलर्ट जारी किया है। राजस्थान और मध्य प्रदेश के कुछ इलाकों में आंधी और ओलावृष्टि की संभावना भी जताई गई है। इस दौरान दिल्ली, यूपी, पंजाब और हरियाणा के कई हिस्सों में बारिश हो सकती है, जबकि दिन और रात के तापमान में गिरावट आने की संभावना है।
हिमाचल में ऑरेंज अलर्ट, जम्मू-कश्मीर और पंजाब में बढ़ेगी ठंड
आईएमडी ने हिमाचल प्रदेश के ऊना, हमीरपुर, बिलासपुर और मंडी जिलों में ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। इन इलाकों में भारी बर्फबारी और बारिश हो सकती है, जिससे ठंड का असर और ज्यादा बढ़ सकता है। जम्मू-कश्मीर, पंजाब और हरियाणा में भी अगले कुछ दिनों में ठंड बढ़ने का अनुमान है।
कोहरा और गिरते तापमान का असर
उत्तर भारत के मैदानी इलाकों में छिटपुट बारिश के साथ कोहरा छाने की संभावना है। खासकर हरियाणा, उत्तर प्रदेश और दिल्ली-एनसीआर के कुछ हिस्सों में घना कोहरा देखने को मिल सकता है। पंजाब और चंडीगढ़ के कुछ इलाकों में हल्की बारिश के कारण तापमान में और गिरावट होगी, जिससे सर्दी का प्रकोप बढ़ेगा।
मौसम विभाग की सलाह
मौसम विभाग ने लोगों को सलाह दी है कि वे ठंड से बचाव के लिए आवश्यक तैयारियां करें। अत्यधिक ठंड वाले क्षेत्रों में गर्म कपड़ों का इस्तेमाल करें और बाहर निकलते समय सतर्क रहें।
निष्कर्ष
पश्चिमी विक्षोभ के चलते उत्तर भारत में कड़ाके की ठंड का असर बढ़ रहा है। बारिश और गिरते तापमान से जनजीवन प्रभावित हो सकता है। आगामी दिनों में मौसम का बदलाव लोगों के लिए चुनौतीपूर्ण हो सकता है, लेकिन उचित तैयारी से इस प्रभाव को कम किया जा सकता है।