Budget 2024: अंतरिम बजट का काउंटडाउन शुरू हो चुका है. चुनावी साल होने की वजह से इस बजट में सौगातों की भी भरमार होगी. वैसे अलग—अलग सेक्टर्स को भी इस अंतरिम बजट से काफी उम्मीदें हैं. जिनमें रियल एस्टेट भी काफी आस लगाकर बैठा हुआ है. मौजूदा समय में होम पर इनकम टैक्स में 5 लाख रुपपए की छूट मिलती है. जिसे इस बजट में बढ़ाया जा सकता है. क्या सरकार रियल एस्टेट को राहत देने के लिए निवेश की नई पॉलिसी लेकर आएंगी? क्या इस सेक्टर में एफडीआई को प्रोत्साहित किया जाएगा? क्या होम लोन पर इनकम टैक्स में छूट के दायरे में इजाफा किया जाएगा? ऐसे तमाम सवाल रियल एस्टेट सेक्टर के लोगों के मन में घुमड़ रहे हैं. आइए आपको भी बताते हैं कि आखिर रियल एस्टेट सेक्टर को इस अंतरिम बजट से किस तरह की उम्मीदें हैं.
बढ़ सकता है टैक्स का दायरा
क्रेडाई एनसीआर के अध्यक्ष और गौड़ ग्रुप के सीएमडी मनोज गौड़ ने कहा कि इस बार के बजट में होम लोन के टैक्स दायरे को बढ़ाने के साथ-साथ इस सेक्टर को उद्योग का भी दर्जा मिलने की उम्मीद है. गौड़ के अनुसार, इंडियन इकोनॉमी में रियल एस्टेट का हमेशा से महत्वपूर्ण योगदान रहा है. वे इस बजट से होम बॉयर्स और डेवलपर्स के लिए मांग को प्रोत्साहित करने, तरलता संबंधी चिंताओं को दूर करने और नियमों को सरल बनाने के लिए रणनीतिक राजकोषीय उपाय की उम्मीद कर रहे हैं.
रियल एस्टेट को ये राहत मिलने की उम्मीद
रहेजा डेवलपर्स के नयन रहेजा के मुताबिक इस बजट में सिंगल विंडो क्लियरेंस की दिशा में काम हो सकती है, जिससे इस सेक्टर को काफी मदद मिलेगी. इससे डेवलपरों को अप्रूवल मिलने में कम समय लेगा. जिसकी वजह से प्रोजेक्ट के निर्माण समय पर होगा और होम बायर्स को डिलिवरी समय पर की जा सकेगी. इस सेक्टर में घरों की लगातार हाई डिमांड और सीमित नए घरों के लॉन्च को देखते हुए किफायती घरों को लेकर भी कुछ न कुछ घोषणा जरूर होनी चाहिए.
इस पॉलिसी की जरुरत
एसकेए ग्रुप के डायरेक्टर संजय शर्मा के अनुसार इस बजट में इनकम टैक्स छूट की आस सिर्फ रियल एस्टेट सेक्टर को ही नहीं बल्कि आम लोगों को भी कम है. अगर सरकार इस पॉलिसी पर कोई घोषणा अंतरित बजट में करती है तो सेक्टर को काफी फायदा होगा. जिससे देश की इकोनॉमी भी काफी मजबूत होगी. वहीं दूसरी ओर काउंटी ग्रुप के डायरेक्टर अमित मोदी ने कहा कि इनकम टैक्स एक्ट की धारा 24 के तहत होम लोन की ब्याज दरों पर 2 लाख रुपए की टैक्स छूट को बढ़ाकर कम से कम 5 लाख रुपए करना जरूरी है. ऐसा करने से आवास के लिए और अधिक मजबूत बाजार को बढ़ावा मिल सकता है, खासकर बजट होम सेगमेंट में,जो कि कोविड के बाद से डिमांड में गिरावट देखी गई है.
रियल एस्टेट को सपोर्ट की जरुरत
मिग्सन ग्रुप के मैनेजिंग डायरेक्टर यश मिगलानी के अनुसार कोविड ने किफायती आवास को बुरी तरह प्रभावित किया है. डेवलपर्स को अधिक किफायती आवास बनाने और उन्हें प्रोत्साहित करने के लिए टैक्स छूट जैसे महत्वपूर्ण कदम उठाने की जरूरत है. इससे न सिर्फ डेवलपर्स को बल मिलेगा बल्कि होम बॉयर्स को भी इसका फायदा मिलेगा. वहीं दूसरी ओर एमआरजी ग्रुप के मैनेजिंग डायरेक्टर रजत गोयल का कहना है कि उम्मीद है कि पिछले वर्ष की तरह 2024 में भी रियल एस्टेट सेक्टर में तेजी देखने को मिलेगी. इसमें कोई संदेह नहीं कि होम लोन इंटरेस्ट पर छूट की लिमिट बढ़ने से किफायती घर खरीदनों वालों की संख्या में इजाफा होगा. टैक्स छूट से होम बॉयर्स के साथ-साथ रियल एस्टेट सेक्टर के लिए भी एक अच्छा कदम होगा.