Rising Rajasthan: केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने मंगलवार को जयपुर में आयोजित 'राइजिंग राजस्थान शिखर सम्मेलन' में राजस्थान के लिए 30,000 करोड़ रुपये की नई सड़क परियोजनाओं की घोषणा की। इस अवसर पर उन्होंने राज्य सरकार से अपील की कि उत्तरी जयपुर बाईपास के पास विकसित भूमि का 40 प्रतिशत हिस्सा किसानों को दिया जाए, ताकि विकास के लाभ सीधे किसानों तक पहुंच सकें।
पर्यटन और विकास को मिलेगी रफ्तार
अपने संबोधन में गडकरी ने कहा कि राजस्थान में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए सड़क बुनियादी ढांचे का सुदृढ़ीकरण आवश्यक है। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि सड़कों के निर्माण से न केवल कनेक्टिविटी बेहतर होती है, बल्कि इससे क्षेत्रीय विकास और रोजगार के अवसरों में भी बढ़ोतरी होती है।
प्रमुख परियोजनाएं और निवेश
गडकरी ने बताया कि 6,500 करोड़ रुपये के निवेश से 110 किलोमीटर लंबे उत्तरी जयपुर रिंग रोड को मंजूरी दी गई है। उन्होंने कहा, "सड़कों के निर्माण के बाद जमीन की कीमत पांच गुना तक बढ़ जाती है।" उन्होंने राज्य सरकार और जयपुर विकास प्राधिकरण से मिलकर "नया जयपुर" विकसित करने का सुझाव दिया।
इसके अलावा, उन्होंने 6,800 करोड़ रुपये की लागत से कोटपुतली से आगरा तक अत्याधुनिक एक्सप्रेसवे की परियोजना की प्रगति पर चर्चा की। यह परियोजना सितंबर तक पूरी होने की उम्मीद है। वहीं, जयपुर, किशनगढ़, जोधपुर से अमृतसर तक एक अत्याधुनिक हाईवे बनाने की योजना भी प्रस्तावित है। इसके लिए 12,000 करोड़ रुपये की लागत से विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार की जा रही है, और काम जल्द ही शुरू होने की संभावना है।
राइजिंग राजस्थान: निवेश और रोजगार की दिशा में कदम
इस तीन दिवसीय 'राइजिंग राजस्थान ग्लोबल इन्वेस्टमेंट समिट' का उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किया, जबकि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने इसे राजस्थान के भविष्य के लिए एक ऐतिहासिक अवसर बताया। राज्य सरकार इस समिट को निवेश आकर्षित करने और रोजगार के अवसर बढ़ाने के लिए एक बड़ा कदम मानती है।
गडकरी ने समिट की सराहना करते हुए इसे राज्य में औद्योगिक विकास और आधारभूत संरचना में सुधार के लिए एक महत्वपूर्ण मंच बताया। उन्होंने कहा कि इस तरह के आयोजन न केवल निवेशकों को आकर्षित करते हैं, बल्कि राज्य की आर्थिक प्रगति को भी रफ्तार देते हैं।
निष्कर्ष
नितिन गडकरी की घोषणाएं न केवल राजस्थान में कनेक्टिविटी को सुधारेंगी, बल्कि क्षेत्रीय विकास और रोजगार सृजन में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगी। जयपुर रिंग रोड, कोटपुतली-आगरा एक्सप्रेसवे, और अन्य परियोजनाएं राज्य को एक नई दिशा देने के लिए तैयार हैं। 'राइजिंग राजस्थान शिखर सम्मेलन' ने यह सुनिश्चित किया है कि राजस्थान आने वाले वर्षों में भारत के सबसे तेजी से विकसित होने वाले राज्यों में अपनी जगह बनाएगा।