Maharashtra Cabinet: महाराष्ट्र में बहुप्रतीक्षित मंत्रिमंडल विस्तार के लिए कैबिनेट बंटवारे का फॉर्मूला तय कर लिया गया है। बीजेपी को 20, एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना को 12, और अजित पवार की एनसीपी को 10 मंत्रीपद दिए जाएंगे। इस बंटवारे को अंतिम रूप देने के लिए मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने दिल्ली में गृह मंत्री अमित शाह के साथ बैठक की। महाराष्ट्र कैबिनेट में मुख्यमंत्री सहित अधिकतम 43 मंत्री हो सकते हैं, और यह बंटवारा उसी के अनुरूप किया गया है।
दिल्ली में फडणवीस-अमित शाह की बैठक
बुधवार को मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने दिल्ली में गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की। यह बैठक गृह मंत्री के आवास पर आयोजित की गई, जहां कैबिनेट के बंटवारे और पोर्टफोलियो को लेकर चर्चा हुई। मुख्यमंत्री बनने के बाद यह फडणवीस का पहला दिल्ली दौरा था। उन्होंने इस दौरान केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से भी मुलाकात की।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर अपनी मुलाकात के बाद लिखा:
"महाराष्ट्र के ऊर्जावान मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस से मुलाकात की। मुझे विश्वास है कि तीसरी बार मुख्यमंत्री के रूप में उनका कार्यकाल महाराष्ट्र की विकास यात्रा को नई गति देगा। उन्हें सफल कार्यकाल के लिए शुभकामनाएं।"
कैबिनेट विस्तार की पृष्ठभूमि
दिल्ली दौरे से पहले, मुख्यमंत्री फडणवीस ने महाराष्ट्र के दोनों उपमुख्यमंत्रियों, एकनाथ शिंदे और अजित पवार, के साथ विस्तृत बैठक की थी। यह चर्चा करीब 1.30 घंटे तक चली और इसमें कैबिनेट में मंत्रीपदों के बंटवारे और विभागों के आवंटन पर विचार-विमर्श हुआ।
महायुति गठबंधन को हाल ही में हुए विधानसभा चुनावों में 288 में से 230 सीटें हासिल हुई थीं। चुनावी जीत के बाद, 5 दिसंबर को फडणवीस ने मुख्यमंत्री, और एकनाथ शिंदे व अजित पवार ने उपमुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली थी।
किसे कौन सा विभाग?
सूत्रों के अनुसार, शिवसेना को गृह विभाग दिए जाने की संभावना नहीं है। हालांकि, उसे शहरी विकास विभाग और अन्य प्रमुख पोर्टफोलियो मिल सकते हैं। वहीं, शिवसेना को राजस्व विभाग मिलने की संभावना कम है। दूसरी ओर, बीजेपी को वित्त और गृह जैसे प्रमुख विभागों को अपने पास रखने की उम्मीद है।
मंत्रिमंडल विस्तार में देरी क्यों?
बीजेपी के एक वरिष्ठ नेता ने मंत्रिमंडल विस्तार में देरी का कारण बताया। उन्होंने कहा:
"तीन पार्टियां (बीजेपी, शिवसेना और एनसीपी) महायुति में शामिल हैं। सभी के बीच समन्वय बनाने और विभागों के उचित आवंटन को सुनिश्चित करने के लिए समय लिया जा रहा है।"
इसके बावजूद, मंत्रिमंडल विस्तार 14 दिसंबर तक पूरा होने की संभावना है।
महाराष्ट्र की नई सरकार: विकास की ओर कदम
तीसरी बार मुख्यमंत्री बनने वाले देवेंद्र फडणवीस का यह कार्यकाल महाराष्ट्र की जनता के लिए महत्वपूर्ण है। तीन प्रमुख राजनीतिक दलों के इस गठबंधन ने राज्य की राजनीति में एक नई मिसाल कायम की है। महाराष्ट्र के विकास और स्थिरता के लिए यह सरकार एक नया दृष्टिकोण लेकर आई है।
निष्कर्ष
महाराष्ट्र के कैबिनेट विस्तार के लिए तैयार किया गया फॉर्मूला महायुति के तीनों दलों के बीच सामंजस्य का प्रतीक है। अब यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि यह गठबंधन राज्य की विकास यात्रा को किस दिशा में ले जाता है। जनता को उम्मीद है कि यह सरकार अपने वादों पर खरा उतरेगी और महाराष्ट्र को नई ऊंचाइयों तक ले जाएगी।