IND vs AUS: ऑस्ट्रेलिया के पर्थ स्थित ऑप्टस स्टेडियम में खेले गए बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी 2024-25 के पहले टेस्ट मुकाबले में भारत ने एक ऐसी जीत दर्ज की, जिसकी कल्पना शायद ही किसी ने की होगी। जसप्रीत बुमराह की कप्तानी में भारतीय टीम ने मेजबान ऑस्ट्रेलिया को 295 रनों के विशाल अंतर से हराया। इस जीत के साथ ही भारतीय टीम ने टेस्ट क्रिकेट में अपना दबदबा और मजबूती से साबित किया।
चार दिनों के भीतर खत्म हुए इस मुकाबले में भारतीय टीम के गेंदबाजों ने शानदार प्रदर्शन किया। ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजी क्रम को पहली पारी में सिर्फ 31 के स्कोर पर चार बड़े झटके दिए गए। वहीं, दूसरी पारी में तो ये हाल और भी खराब रहा, जहां ऑस्ट्रेलिया ने 17 रन पर ही अपने चार विकेट खो दिए। यह प्रदर्शन ऑस्ट्रेलियाई टेस्ट इतिहास के 147 साल में सबसे खराब दिनों में से एक के रूप में दर्ज हुआ।
ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजी की सबसे खराब शुरुआत
ऑस्ट्रेलिया की हार का सबसे बड़ा कारण उनके शीर्ष क्रम के बल्लेबाजों का बुरी तरह विफल होना रहा।
- पहली पारी: उस्मान ख्वाजा, डेविड मैक्सविनी, मार्नस लाबुशेन और स्टीव स्मिथ ने मिलकर केवल 18 रन बनाए।
- दूसरी पारी: इन्हीं चार बल्लेबाजों के साथ कप्तान पैट कमिंस ने मिलकर सिर्फ 9 रन जोड़े।
इस तरह, दोनों पारियों में ऑस्ट्रेलिया के शीर्ष-4 बल्लेबाज कुल मिलाकर केवल 29 रन बना सके। यह प्रदर्शन ऑस्ट्रेलिया के टेस्ट इतिहास में पहली बार हुआ, जिसने उनकी बल्लेबाजी कमजोरी को उजागर कर दिया।
भारतीय गेंदबाजों का अद्भुत प्रदर्शन
भारत के तेज गेंदबाजों ने ऑस्ट्रेलियाई पिच पर शानदार लाइन और लेंथ से गेंदबाजी की।
- जसप्रीत बुमराह ने कप्तानी के साथ अपने प्रदर्शन में भी मजबूती दिखाई।
- मोहम्मद सिराज और मोहम्मद शमी ने नई गेंद से घातक स्पैल डाले, जबकि रविचंद्रन अश्विन ने अपनी स्पिन से बल्लेबाजों को परेशान किया।
इस अद्भुत गेंदबाजी प्रदर्शन ने भारत को विपक्षी टीम पर दबाव बनाने और एकतरफा जीत हासिल करने में मदद की।
घर से बाहर भारत की दूसरी सबसे बड़ी जीत
पर्थ टेस्ट में भारत की 295 रनों की जीत घर से बाहर रनों के अंतर से दूसरी सबसे बड़ी जीत है।
- पहली सबसे बड़ी जीत: साल 2019 में वेस्टइंडीज के खिलाफ 318 रनों से।
- पर्थ की इस जीत ने न केवल इतिहास में एक और सुनहरा अध्याय जोड़ा बल्कि यह भी दिखाया कि भारतीय टीम अब हर परिस्थिति में जीतने का माद्दा रखती है।
नतीजे के मायने
इस ऐतिहासिक जीत से भारतीय टीम ने न केवल श्रृंखला में बढ़त हासिल की, बल्कि क्रिकेट जगत को एक संदेश भी दिया कि उनकी तैयारियां और कौशल किसी भी परिस्थिति में उन्हें विजयी बना सकता है। दूसरी ओर, ऑस्ट्रेलिया को अपनी रणनीतियों और बल्लेबाजी में सुधार के लिए कड़ी मेहनत करनी होगी।
भारतीय क्रिकेट के लिए यह जीत एक मील का पत्थर है, जो आने वाले मुकाबलों में उनके आत्मविश्वास को नई ऊंचाई पर ले जाएगी।