+

Bitcoin Prices:क्यों बिटकॉइन की चमक फीकी पड़ गई, 6 दिन में 12 लाख रुपए हुआ सस्ता

Bitcoin Prices: कॉइन मार्केट कैप के डाटा के अनुसार भारत में बिटकॉइन के दाम अपने लाइफ टाइम हाई से करीब 12 लाख रुपए कम हो गए हैं. आंकड़ों के अनुसार 17 दिसंबर को

Bitcoin Prices: दुनिया की सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी बिटकॉइन में इन दिनों लगातार गिरावट देखने को मिल रही है। अपने लाइफ टाइम हाई से बिटकॉइन के दाम करीब 12 लाख रुपये कम हो गए हैं। इस गिरावट के पीछे दो मुख्य कारण हैं: पहला, हाई वैल्यूएशन के बाद निवेशकों द्वारा मुनाफावसूली, और दूसरा, अमेरिकी फेडरल रिजर्व की पॉलिसी, जो क्रिप्टो मार्केट के लिए अनुकूल नहीं है।


बिटकॉइन का मूल्य: कहां तक पहुंची गिरावट?

भारतीय बाजार में:
कॉइन मार्केट कैप के आंकड़ों के अनुसार, भारत में बिटकॉइन का मूल्य अपने उच्चतम स्तर से करीब 12 लाख रुपये नीचे आ गया है। 17 दिसंबर को बिटकॉइन 91,59,463 रुपये के साथ अपने लाइफ टाइम हाई पर था, जो घटकर अब 79,70,860 रुपये पर आ गया है।
इसका मतलब है कि बिटकॉइन में 11,88,603 रुपये की गिरावट हुई है। यदि किसी निवेशक के पास 10 बिटकॉइन होते, तो उन्हें लगभग 1.18 करोड़ रुपये का नुकसान उठाना पड़ता। विशेषज्ञों का मानना है कि भारतीय बाजार में बिटकॉइन की कीमतों में और गिरावट हो सकती है।

विदेशी बाजार में:
विदेशी बाजार में भी बिटकॉइन के दामों में गिरावट का दौर जारी है। 17 दिसंबर को बिटकॉइन 1,08,268.45 डॉलर के उच्चतम स्तर पर था, लेकिन अब यह घटकर 93,690.73 डॉलर पर आ गया है।
इस प्रकार, विदेशी बाजार में बिटकॉइन की कीमत 14,577.72 डॉलर गिर चुकी है, जिससे निवेशकों को करीब 13.46% का नुकसान हो चुका है।


वर्तमान कीमतें:

भारतीय बाजार:
बिटकॉइन वर्तमान में करीब 81,85,938 रुपये पर ट्रेड कर रहा है। कारोबारी सत्र के दौरान यह 79,70,860 रुपये के निम्नतम स्तर पर पहुंचा था।
विदेशी बाजार:
विदेशी बाजार में बिटकॉइन 95,916.47 डॉलर पर ट्रेड कर रहा है, जबकि दिन के निचले स्तर पर यह 93,690.73 डॉलर तक गिर गया।


बिटकॉइन की गिरावट के प्रमुख कारण

  1. मुनाफावसूली:
    बिटकॉइन की कीमत जब अपने उच्चतम स्तर पर पहुंची, तो कई निवेशकों ने मुनाफावसूली शुरू कर दी। इससे कीमतों पर दबाव बढ़ा और गिरावट देखने को मिली।

  2. फेडरल रिजर्व की पॉलिसी:
    हाल ही में अमेरिकी फेडरल रिजर्व ने पॉलिसी रेट में 25 बेसिस प्वाइंट की कटौती की। हालांकि, अगले साल के लिए सिर्फ 50 बेसिस प्वाइंट की कटौती का अनुमान लगाया गया है, जो पहले 1% कटौती होने की संभावना के विपरीत है।
    यह बदलाव क्रिप्टोकरेंसी बाजार के लिए प्रतिकूल साबित हो रहा है, क्योंकि निवेशक अब सुरक्षित और स्थिर निवेश की ओर रुख कर रहे हैं।


आगे क्या?

विशेषज्ञों का मानना है कि बिटकॉइन की कीमतों में निकट भविष्य में और गिरावट हो सकती है। भारतीय और वैश्विक निवेशकों को इस अस्थिरता के प्रति सतर्क रहना चाहिए और बाजार की हरकतों पर नज़र बनाए रखनी चाहिए।

नोट: क्रिप्टोकरेंसी बाजार बेहद अस्थिर है। निवेश करने से पहले गहन शोध और पेशेवर सलाह अवश्य लें।

facebook twitter