Israel-Hezbollah War: सितंबर में बेरूत के दक्षिणी उपनगरों पर इजराइली हमलों में हिजबुल्लाह के पूर्व महासचिव हसन नसरल्लाह की हत्या के बाद संगठन ने नईम कासिम को नया महासचिव नियुक्त किया है। हिजबुल्लाह के निर्णय लेने वाले निकाय ‘शूरा परिषद’ ने सर्वसम्मति से कासिम को महासचिव के पद के लिए चुना। कासिम ने इस पद पर अपनी जिम्मेदारी संभालने के बाद अपना पहला संबोधन बेरूत से दिया और उसके बाद के दो भाषण ईरान की राजधानी तेहरान से किए। रिपोर्टों के अनुसार, हत्या की आशंका के चलते उन्हें ईरान के सर्वोच्च अधिकारियों द्वारा तेहरान बुलाया गया है।
कौन हैं नईम कासिम?
नईम कासिम 1991 से हिजबुल्लाह में डिप्टी चीफ की भूमिका निभाते रहे हैं। वह हिजबुल्लाह के पूर्व महासचिव अब्बास अल-मुसावी के काल में इस पद पर नियुक्त हुए थे। अब्बास अल-मुसावी 1992 में एक इजराइली हमले में मारे गए थे, जिसके बाद हसन नसरल्लाह हिजबुल्लाह का नेतृत्व संभालते रहे। कासिम का लेबनान के शिया अमल आंदोलन से भी संबंध रहा है, जहां से उन्होंने अपनी राजनीतिक यात्रा शुरू की थी, लेकिन 1979 में उन्होंने इसे छोड़ दिया। कासिम ने हिजबुल्लाह की स्थापना के समय महत्वपूर्ण बैठकों में हिस्सा लिया था, जो 1982 में ईरानी रिवोल्यूशनरी गार्ड की देखरेख में गठित हुआ था।
नईम कासिम हिजबुल्लाह के प्रमुख प्रवक्ता भी रहे हैं और उन्होंने विदेशी मीडिया के सामने संगठन की स्थिति को स्पष्ट किया है। 1992 में हिजबुल्लाह के पहली बार संसदीय चुनाव लड़ने के बाद से ही वह संगठन के चुनाव अभियानों के प्रमुख समन्वयक रहे हैं। 1953 में दक्षिणी लेबनान के फिला गांव में जन्मे कासिम छह बेटों के पिता हैं और जीवन में अब तक उन्होंने 26 पुस्तकें लिखी हैं। हाल के वर्षों में उन्होंने ईरान में विभिन्न आधिकारिक कार्यक्रमों में हिजबुल्लाह का प्रतिनिधित्व किया, जिसमें राष्ट्रपति मसूद पेजेश्कियान के शपथ समारोह में भी उन्होंने हिजबुल्लाह का नेतृत्व किया।
इजराइली निशाने पर नईम कासिम
इजराइल के राष्ट्रपति इसहाक हर्ज़ोग ने नईम कासिम को लेकर कड़ी टिप्पणी की है। उन्होंने कहा कि कासिम ने हिजबुल्लाह के पिछले नेताओं की गलती दोहराई है। हर्ज़ोग ने हाइफा में घायल सैनिकों से मुलाकात के दौरान कहा कि "अब कासिम की भी बारी आएगी। न केवल वह गलत रास्ते पर है, बल्कि मुझे विश्वास है कि उसका दिन भी आएगा।"
इजराइल और हिजबुल्लाह के बीच यह बयानबाजी लेबनान और पूरे क्षेत्र के लिए तनाव बढ़ा रही है। कासिम के नए महासचिव बनने के बाद से हिजबुल्लाह पर अंतर्राष्ट्रीय निगाहें टिकी हुई हैं और यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि क्या नईम कासिम संगठन को स्थायित्व और सुरक्षा की दिशा में ले जा पाएंगे।