META News:मार्क जुकरबर्ग को लगा तगड़ा झटका, यूरोपीय कमीशन ने लगाया भारी-भरकम जुर्माना

11:56 PM Sep 27, 2024 | zoomnews.in

META News: दुनिया के सबसे अमीर लोगों में से एक, मार्क जुकरबर्ग, को अपनी दिग्गज टेक कंपनी मेटा पर हाल ही में एक बड़ा झटका लगा है। यूरोपीय कमीशन के गोपनीयता नियामक ने मेटा पर फेसबुक यूजर्स के पासवर्ड से जुड़ी सुरक्षा चूक के मामले में 10.16 करोड़ डॉलर का जुर्माना लगाया है। यह जुर्माना आयरिश डेटा सुरक्षा आयोग की ओर से लगाया गया है, जिसने 9.1 करोड़ यूरो की राशि निर्धारित की है।

सुरक्षा चूक की जांच की शुरुआत

यह मामला साल 2019 में शुरू हुआ, जब यूरोपीय कमीशन के रेगुलेटर ने मेटा द्वारा फेसबुक के कुछ यूजर्स के पासवर्ड के अनजाने में आंतरिक रूप से संग्रहीत होने की सूचना मिलने के बाद जांच शुरू की थी। यह चिंताजनक था, क्योंकि इससे फेसबुक के कर्मचारी आसानी से इन पासवर्डों तक पहुंच सकते थे।

मेटा की प्रतिक्रिया

आयोग के उपायुक्त ग्राहम डॉयल ने कहा कि इस प्रकार के दुरुपयोग के जोखिम को देखते हुए यूजर्स के पासवर्ड को बिना किसी कोड के संग्रहीत नहीं किया जाना चाहिए। मेटा ने अपनी सफाई में कहा कि सुरक्षा समीक्षा में इस ‘गलती’ को पहचान लिया गया था और कंपनी ने इसे सुधारने के लिए तुरंत कार्रवाई की थी।

दुरुपयोग का कोई सबूत नहीं

मेटा ने अपने बयान में स्पष्ट किया कि “इस बात का कोई सबूत नहीं है कि इन पासवर्ड का दुरुपयोग किया गया था या अनुचित तरीके से उन तक पहुंच बनाई गई थी।” उन्होंने इस मामले की जांच के दौरान आयरिश डेटा सुरक्षा आयोग के साथ सार्थक रूप से जुड़ने की बात भी कही।

पहले भी हुए हैं जुर्माने

यह पहला मौका नहीं है जब मार्क जुकरबर्ग की कंपनी पर इस प्रकार का जुर्माना लगाया गया है। इससे पहले इंस्टाग्राम पर किशोरों के आंकड़ों के गलत प्रबंधन के लिए 40.5 करोड़ यूरो, वॉट्सऐप पर 55 लाख यूरो का जुर्माना और ट्रांसअटलांटिक आंकड़ों के भेजने के लिए मेटा पर 1.2 अरब यूरो का जुर्माना लगाया जा चुका है।

निष्कर्ष

इस नए जुर्माने ने एक बार फिर मेटा की सुरक्षा नीतियों और प्रबंधन पर सवाल खड़े कर दिए हैं। मार्क जुकरबर्ग के लिए यह एक गंभीर संकेत है कि उन्हें अपनी कंपनी की गोपनीयता और सुरक्षा के उपायों को और मजबूत करने की आवश्यकता है। इसके अलावा, यह घटना दर्शाती है कि डेटा सुरक्षा के नियमों के उल्लंघन पर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कितनी सख्ती से कार्रवाई की जा रही है। मेटा को अब इस मुद्दे को गंभीरता से लेकर आगे की रणनीतियों पर ध्यान केंद्रित करने की आवश्यकता है।