Gujarat News: गुजरात के वडोदरा जिले में गुरुवार शाम बड़ा हादसा हो गया. हरणी झील में नौका विहार करने गए 25 से ज्यादा छात्र नाव पटलने से डूब गए. हादसे में अब तक 11 छात्रों और दो महिला शिक्षकों सहित 13 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि अन्य छात्रों की तलाश जारी है. प्रारंभिक जानकारी में सामने आया है कि झील में नौका विहार के दौरान छात्रों को बिना लाइफ जैकेट पहनाए नाव में बैठाया गया था. साथ ही 16 की क्षमता वाली नाव में 25 से ज्यादा छात्र बैठे थे. इसी वजह से नाव झील में पलट गई.
जानकारी के मुताबिक, हरणी झील में 25 से ज्यादा छात्रों से भरी नाव पलटने के सूचना मिलने के बाद स्थानीय गोताखोर और फायर ब्रिगेड की टीम मौके पर पहुंची और आनन-फानन में रेस्क्यू चला कुछ छात्रों को बचा लिया. झील से बाहर निकाले गए छात्रों को इलाज के लिए एसएसजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है. घटना की जानकारी होने पर जिला प्रशासन की टीम के साथ डीसीपी, एसीपी समेत पुलिस फोर्स मौके पर पहुंच गई.
किस स्कूल के छात्र हुए हादसे का शिकार?
वडोदरा के न्यू सनराइज स्कूल के छात्रों के डूबने की जानकारी मिल रही है. नाव में 16 की क्षमता के मुकाबले 25 से अधिक छात्र सवार थे. साथ में दो महिला शिक्षक भी थीं. हादसे में छाया सुरती और फाल्गुनी पटेल नाम की दो महिला शिक्षकों की मौत हो गई. जिला प्रशासन द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक, 11 छात्रों और दो महिला शिक्षकों की मौत हुई है.
हादसे को लेकर खड़े हो रहे ये सवाल
वहीं इस घटना के बाद जिला प्रशासन पर भी कई सवाल खड़े हो रहे हैं. आखिर 16 की क्षमता के मुकाबले 25 से ज्यादा छात्रों को क्यों बैठाया गया? छात्रों को लाइफ जैकेट क्यों नहीं पहनाई गई? हरणी झील में जब नाव में छात्रों को बैठाया जा रहा था तो वहां देखभाल करने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों ने छात्रों को रोका क्यों नहीं? दो अलग-अलग नाव में क्यों नहीं बैठाया गया? फिलहाल इन सभी सवालों का जिला प्रशासन के पास कोई जवाब नहीं है.
CM भूपेंद्र पटेल ने हादसे पर जताया दुख
फिलहाल मौके पर रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है. राज्य के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने हादसे पर दुख जताते हुए ‘X’ पर लिखा कि, “वडोदरा की हरणी झील में नाव पलटने से बच्चों के डूबने की घटना अत्यंत हृदय विदारक है. जान गंवाने वाले मासूम बच्चों की आत्मा की शांति के लिए मैं प्रार्थना करता हूं. दुःख की इस घड़ी में उनके परिवार के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं हैं. दयालु ईश्वर उन्हें यह दुःख सहने की शक्ति दे. नाव पर सवार छात्रों और शिक्षकों का बचाव अभियान फिलहाल जारी है. प्रशासन को दुर्घटना के पीड़ितों को तत्काल राहत और उपचार प्रदान करने का निर्देश दिया गया है.”