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Ebrahim Raisi News:ईरानी राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी का हेलीकॉप्टर क्रैश, नहीं हो पा रहा संपर्क

Ebrahim Raisi News: ईरानी राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी को लेकर जा रहा हेलीकॉप्टर दुर्घटना का शिकार हो गया है। रिपोर्टों के मुताबिक अजरबैजान में हेलीकॉप्टर की हार्ड लैंडिंग की खबर है और उनसे संपर्क नहीं हो पा रहा है।

Ebrahim Raisi News: ईरानी टीवी ने रविवार को बताया है कि एक बड़े घटनाक्रम में, तीन लोगों के काफिले में से एक हेलीकॉप्टर, जिसमें ईरानी राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी यात्रा कर रहे थे, वह हेलीकॉप्टर दुर्घटना का शिकार हो गया है। स्टेट टीवी ने घटना के बारे में और कोई जानकारी फिलहाल नहीं दी है। ईरानी समाचार एजेंसी, आईआरएनए के अनुसार, रईसी ने आज सुबह अपने अज़रबैजानी समकक्ष इल्हाम अलीयेव से मुलाकात की थी और दोनों पक्षों द्वारा संयुक्त रूप से निर्मित क़िज़ कलासी बांध का उद्घाटन किया था। ईरान के गृह मंत्री ने बयान जारी किया है जिसमें उन्होंने बताया है कि राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी से कोई संपर्क नहीं हो सका है।

इसके बाद राष्ट्रपति रईसी ईरान के पूर्वी अज़रबैजान प्रांत में यात्रा कर रहे थे। स्टेट टीवी ने कहा कि यह घटना ईरान की राजधानी तेहरान से लगभग 600 किलोमीटर उत्तर-पश्चिम में अजरबैजान देश की सीमा पर स्थित शहर जोल्फा के पास हुई है। घटना के बारे में कहा जा रहा है कि खराब मौसम इसकी वजह हो सकता है। मौसम के कारण बचाव अभियान में भी बाधा आ रही है। सरकारी टीवी ने कहा कि बचावकर्मी घटनास्थल तक पहुंचने का प्रयास कर रहे थे, लेकिन क्षेत्र में खराब मौसम के कारण इसमें बाधा आ रही थी। कुछ हवा के साथ भारी बारिश की सूचना मिली थी।

कौन हैं इब्राहिम रईसी?

63 वर्षीय ईरान के राष्ट्रपति रईसी एक कट्टरपंथी हैं, जिन्होंने देश की न्यायपालिका का नेतृत्व किया था। उन्हें ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली खामेनेई के शिष्य के रूप में देखा जाता है और कुछ विश्लेषकों का मानना है कि वह 85 वर्षीय नेता की मृत्यु या पद से इस्तीफा देने के बाद उनकी जगह ले सकते हैं।

रईसी ने ईरान का 2021 का राष्ट्रपति चुनाव जीता, एक ऐसा वोट जिसमें इस्लामिक गणराज्य के इतिहास में सबसे कम मतदान हुआ। 1988 में खूनी ईरान-इराक युद्ध के अंत में हजारों राजनीतिक कैदियों की सामूहिक फांसी में शामिल होने के कारण रायसी पर अमेरिका द्वारा प्रतिबंध लगाया गया है।

 ईरान ने यूक्रेन के खिलाफ युद्ध में रूस को हथियारों से मदद की है, साथ ही गाजा पट्टी में हमास के खिलाफ युद्ध के बीच इजरायल पर बड़े पैमाने पर ड्रोन और मिसाइल से हमला किया है। इसने मध्यपूर्व में यमन के हूती विद्रोहियों और लेबनान के हिजबुल्लाह जैसे छद्म समूहों को भी हथियार देना जारी रखा है।

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