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Barmer News:बाड़मेर के शहीद नखत सिंह भाटी को 7-साल के बेटे ने दी मुखाग्नि, वीरांगना की तबीयत बिगड़ी

Nakhat Singh Bhati : अरुणाचल प्रदेश में शहीद हुए बाड़मेर के जवान हवलदार नखत सिंह भाटी की गुरुवार को अंतिम विदाई की गई। हरसाणी गांव में, श्मशान घाट पर शहीद

Nakhat Singh Bhati: अरुणाचल प्रदेश में शहीद हुए बाड़मेर के जवान हवलदार नखत सिंह भाटी की गुरुवार को अंतिम विदाई की गई। हरसाणी गांव में, श्मशान घाट पर शहीद को उनका सात वर्षीय बेटा शौर्य ने मुखाग्नि दी। अंतिम संस्कार के दौरान, कलेक्टर निशांत जैन और एसपी नरेंद्र सिंह मीणा समेत हजारों लोग उपस्थित थे, जिन्होंने शहीद की शहादत को श्रद्धांजलि अर्पित की। शोक और गर्व के मिश्रित भावों के बीच, "नखत सिंह अमर रहे" के नारों से पूरा इलाका गूंज उठा।

नखत सिंह की पार्थिव देह दोपहर को गांव में पहुंची, जहां उनकी पत्नी प्रियंका कंवर की तबीयत अचानक बिगड़ गई और उनके भाई उम्मेद सिंह का दिल दहलाने वाला आक्रोश सामने आया। शहीद की पार्थिव देह को जालीपा मिलिट्री स्टेशन से उनके पैतृक गांव हरसाणी ले जाते समय मार्ग में जगह-जगह भारत माता के जयकारे लगाए गए और फूलों की वर्षा की गई।

भाटी के घर लौटने पर, उनके परिवार की भावनाओं का आना-जाना दर्दनाक था। खासकर, उनके छोटे भाई उम्मेद सिंह की आंखों में आंसू और पत्नी प्रियंका का गहरा दुख स्पष्ट था। शहीद के घर में उनकी आत्मकथा अधूरी रह गई, क्योंकि वे अपनी छुट्टी में घर बनवाने और भाई की शादी करवाने का सपना देख रहे थे। उनकी शहादत की खबर ने परिवार को गहरा आघात पहुंचाया, और यह दुखद जानकारी प्रियंका से छुपाई गई।

अंतिम संस्कार के अवसर पर, पूरे गांव ने शहीद को श्रद्धांजलि अर्पित की। इसमें सांसद उम्मेदाराम बेनीवाल, शिव विधायक रविंद्र सिंह भाटी, चौहटन विधायक आदूराम मेघवाल, जिला कलेक्टर निशांत जैन, पुलिस अधीक्षक नरेंद्र सिंह मीणा, भाजपा नेता स्वरूप सिंह, और अन्य महत्वपूर्ण व्यक्तित्व शामिल थे। यह विदाई न केवल एक सैनिक के प्रति सम्मान दर्शाती है, बल्कि एक परिवार की गहरी पीड़ा और समुदाय की एकता को भी उजागर करती है।

घर पर शहीद नखत सिंह की पार्थिव देह देखकर उनके भाई उम्मेद सिंह फूट-फूट कर रोने लगे। शिव विधायक रविंद्र सिंह भाटी उन्हें ढांढस बंधा रहे थे। इस दौरान भाटी की आंखें भी नम हो गईं।

सपना अधूरा रह गया

भाटी अप्रैल में एक माह की छुट्‌टी लेकर बाड़मेर आए थे। इस दौरान उन्होंने अपने मकान की नींव भरवाई थी। सपना था कि खुद का मकान बनवाएंगे। ड्यूटी पर लौटने से पहले मां और पत्नी प्रियंका कंवर से कहा था कि अगली बार दो महीने की छुट्‌टी लेकर आऊंगा। घर बनवाऊंगा और छोटे भाई उम्मेद सिंह (24) की शादी करवाऊंगा। सपने अधूरे रह गए। शहादत से पहले रात को पत्नी से फोन पर बात हुई थी। मंगलवार को दिनभर पत्नी ने फोन ट्राई किया, लेकिन फोन नहीं लगा। परिवार के सदस्यों को शहादत की जानकारी मिल चुकी थी, लेकिन उन्होंने प्रियंका (पत्नी) से छिपाए रखा।

शहीद को विदाई देने उमड़े लोग

शहीद के घर से करीब 500 मीटर दूर हरसाणी तलाई में श्मशान घाट में लोगों का हुजूम उमड़ गया। लोग शहीद को नम आंखों से विदाई दे रहे हैं।

सांसद उम्मेदाराम बेनीवाल, शिव विधायक रविंद्र सिंह भाटी, चौहटन विधायक आदूराम मेघवाल, जिला कलेक्टर निशांत जैन, पुलिस अधीक्षक नरेंद्र सिंह मीणा, भाजपा नेता स्वरूप सिंह, आरएसएस के मनोहर बंसल, आर्मी, एयरफोर्स, बीएसएफ, सैनिक कल्याण बोर्ड के अधिकारी मौजूद हैं।

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