New Delhi Stampede: नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर शनिवार रात एक दर्दनाक हादसे में 14 महिलाओं समेत 18 लोगों की मौत हो गई, जबकि कई अन्य घायल हो गए। घायलों को तत्काल उपचार के लिए लोकनायक जयप्रकाश (एलएनजेपी) अस्पताल में भर्ती कराया गया। यह हादसा प्लेटफॉर्म नंबर 14 और 15 पर रात करीब 10 बजे हुआ।
कैसे हुआ हादसा?
बताया जाता है कि स्टेशन पर भीड़ अचानक से बढ़ गई थी, जिससे भगदड़ मच गई। अधिकतर यात्री महाकुंभ स्नान के लिए प्रयागराज जा रहे थे। इस अप्रत्याशित भीड़ और अव्यवस्थित स्थिति ने इस भयानक घटना को जन्म दिया।
सरकारी प्रतिक्रिया
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हादसे पर गहरा दुख जताया और मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त की। साथ ही इस घटना की उच्चस्तरीय जांच के आदेश दिए गए हैं। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, गृह मंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भी इस हादसे पर शोक व्यक्त किया।
मृतकों की सूची
मृतकों में बिहार, दिल्ली और हरियाणा के निवासी शामिल हैं। इनमें बुजुर्गों, महिलाओं और बच्चों की बड़ी संख्या है।
मुआवजे की घोषणा
सरकार ने हादसे के पीड़ितों के लिए मुआवजे की घोषणा की है:
मृतकों के परिजनों को 10 लाख रुपये
गंभीर रूप से घायलों को 2.5 लाख रुपये
मामूली रूप से घायलों को 1 लाख रुपये
राजनीतिक प्रतिक्रियाएं
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने इस हादसे को रेलवे प्रशासन की नाकामी और सरकार की असंवेदनशीलता करार दिया। उन्होंने सरकार से बेहतर व्यवस्था सुनिश्चित करने की मांग की। प्रियंका गांधी ने भी मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदना जताई।
रेलवे का पक्ष
रेलवे प्रशासन ने उन खबरों को खारिज किया, जिनमें यह दावा किया गया था कि अंतिम क्षणों में ट्रेनों के प्लेटफॉर्म बदल दिए गए थे, जिससे भगदड़ मची। रेलवे ने स्पष्ट किया कि किसी भी ट्रेन का प्लेटफॉर्म नहीं बदला गया था और सोशल मीडिया पर फैलाई जा रही सूचनाएं गलत हैं।
सुरक्षा कड़े किए गए
घटना के बाद प्रयागराज जंक्शन समेत अन्य प्रमुख रेलवे स्टेशनों पर सुरक्षा बढ़ा दी गई है। रेलवे सुरक्षा बल (RPF) और अन्य एजेंसियों को भीड़ नियंत्रण और सुरक्षा सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं।
निष्कर्ष
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर हुई यह दर्दनाक घटना रेलवे प्रशासन और सरकार के लिए एक गंभीर चेतावनी है। यह हादसा दर्शाता है कि भीड़ नियंत्रण और सुरक्षा प्रबंधन में अभी भी कई खामियां हैं। इस घटना से सबक लेते हुए रेलवे और प्रशासन को भविष्य में ऐसी त्रासदियों को रोकने के लिए प्रभावी कदम उठाने की जरूरत है।